उग्र हुआ किसानों का प्रदर्शन: मोदी सरकार द्वारा बनाए गए कृषि कानूनों के विरोध में दिल्ली में महाधरना देने के लिए जा रहे पंजाब-हरियाणा के किसान अंबाला के शंभू बॉर्डर पर एकत्रित हो गए हैं। प्रशासन ने ऐहतियात बरतते हुए सभी सीमाएं सील कर दी है और किसी भी अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए सभी तैयारियां कर ली है।
आंदोलन के लिए एकत्रित हुए किसानों को अंबाला-कुरुक्षेत्र हाईवे पर जब रोका गया तो उन्होंने गुस्से में आकर बैरिकेडिंग उठाकर फ्लाईओवर से नीचे फेंक दिए। इसके साथ ही उन्होंने पत्थर भी फेंकने शुरु कर दिए। इसके जवाब में पुलिस ने भी किसानों पर आंसू गैस के गोले छोड़े।
उल्लेखनीय है कि देश भर के लगभग 500 से अधिक किसान संगठनों ने मिलकर संयुक्त किसान मोर्चा का गठन कर कृषि विधेयकों का देशव्यापी विरोध करने का निर्णय किया है। संयुक्त किसान मोर्चा के नेतृत्व में ही किसान 26 और 27 सितंबर को दिल्ली कूच कर रहे हैं।
किसानों के समर्थन में उतरे केजरीवाल
आंदोलन कर रहे किसानों के समर्थन में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट करते हुए लिखा, “केंद्र सरकार के तीनों खेती बिल किसान विरोधी हैं। ये बिल वापिस लेने की बजाय किसानों को शांतिपूर्ण प्रदर्शन करने से रोका जा रहा है, उन पर वॉटर कैनन चलाई जा रही हैं। किसानों पर ये जुर्म बिलकुल ग़लत है। शांतिपूर्ण प्रदर्शन उनका संवैधानिक अधिकार है।”
केंद्र सरकार के तीनों खेती बिल किसान विरोधी हैं। ये बिल वापिस लेने की बजाय किसानों को शांतिपूर्ण प्रदर्शन करने से रोका जा रहा है, उन पर वॉटर कैनन चलाई जा रही हैं। किसानों पर ये जुर्म बिलकुल ग़लत है। शांतिपूर्ण प्रदर्शन उनका संवैधानिक अधिकार है।
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) November 26, 2020